उत्तर नारी डेस्क
एक ओर जहाँ उत्तराखण्ड पुलिस महकमे के बड़े अधिकारी अपने हर मंच से सरलीकरण और तुरंत समाधान की बात करते हैं, लेकिन यह बातें लगता है धरातल पर अमल नहीं हो पा रही हैं। डीजीपी अशोक कुमार के निर्देश हैं कि थाना व चौकी में आने वाले सभी पीडि़तों की सुनवाई हो। ऑनलाइन शिकायत करने व उस पर मुकदमा कर उचित जांच करने का भी प्रविधान है। लेकिन पुलिस की कार्यशैली पर कोई बदलाव नहीं दिखाई दे रहा। इसी का उदाहरण का हल्द्वानी में भैंस चोरी का मुकदमा।
बता दें, करीब 8 महीने पहले यानी 21 जनवरी 2022 को ग्राम हाथीखाल अर्जुनपुर, हल्द्वानी निवासी खष्टी देवी की दो भैंस चोरी हो गई। जिसके बाद से भैंस की तलाश के लिए खष्टी देवी अधिकारियों और थानों का चक्कर लगा रही थी, लेकिन पुलिस केवल उनको आश्वासन ही दे रही। जिससे थक हारकर परेशान परेशान पीड़ित खष्टी देवी ने इसकी शिकायत मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से की थी। जिसके बाद मुख्यमंत्री ने पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार को पूरे मामले में एफआइआर दर्ज करने के निर्देश जारी किए। डीजीपी के निर्देश के बाद हल्द्वानी पुलिस ने भैंस चोरी का मुकदमा दर्ज किया है।
जानकारी के अनुसार, पीड़िता खष्टी देवी की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं है। जैसे-तैसे वह अपने परिवार का भरण पोषण करती हैं। परिवार की आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए उन्होंने कर्ज लेकर दो भैंसे खरीदी थी, लेकिन जब तक हालात अच्छे होते उनकी गौशाला में बधी दो दुधारू भैंस चोरी कर ली। ये घटना 21 जनवरी 2022 की रात की है। भैंस चोरी होने से परेशान खष्टी काफी परेशान रहीं। उन्होंने मंडी पुलिस चौकी में पहुंचकर मामले की तहरीर दी, लेकिन पुलिस ने उन्हें टरका दिया। पुलिस ने भैंस चोरी को हलके में लिया। मगर खष्टी की आमदनी का स्रोत ही चोरी हो गया था। जिसके बाद परेशान खष्टी ने पुलिस अधिकारियों से भी गुहार लगाई, लेकिन वहां से भी निराशा ही हाथ लगी। वहीं, थक हारकर परेशान खष्टी ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से इसकी शिकायत की थी। जिसके बाद मुख्यमंत्री ने पूरे मामले में डीजीपी को निर्देश दिया था। डीजीपी के निर्देश के बाद हल्द्वानी पुलिस ने भैंस चोरी का मुकदमा दर्ज कर लिया है।
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