उत्तर नारी डेस्क
उत्तराखण्ड के तेजतर्रार आईपीएस अफसर अरुण मोहन जोशी के नाम एक ओर बड़ी उपलब्धि जुड़ गई है। नए साल के पहले दिन ही आईपीएस अरुण मोहन जोशी देश के सबसे कम उम्र के पुलिस महानिरीक्षक (आईजी) बन गए हैं। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने हाथों से आईजी का बैच पहनाया।
बता दें, आईपीएस अरुण मोहन जोशी जनजातीय क्षेत्र जौनसार बावर के चकराता क्षेत्र के छोटे से गांव मुंधौल के निवासी हैं। आईपीएस अरुण मोहन जोशी के तीन भाई और एक बहन हैं। उनकी प्राथमिक शिक्षा देहरादून और हरिद्वार में हुई। उनका बचपन काफी संघर्षों मेंं बीता। माता के निधन के बाद अफसर पिता ने उनकी परवरिश की। यहां मिले संस्कार और शिक्षा को वह आज भी आत्मसात किए हुए हैं। आईआईटी रुड़की से इंजीनियरिंग करने के बाद अरुण मोहन जोशी केवल 23 साल की उम्र में आईपीएस बनकर 2006 में सबसे कम उम्र के आईपीएस बनने का रिकॉर्ड भी अपने नाम कर चुके हैं। लेकिन अब 40 साल में आईजी बनकर अरुण मोहन जोशी ने पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। जो उत्तराखण्ड के लिए गर्व की बात है।
22 दिसंबर 2023 को संपन्न हुई थी डीपीसी
22 दिसंबर 2023 को उत्तराखण्ड सचिवालय में मुख्य सचिव की अध्यक्षता में भारतीय पुलिस सेवा के अधिकारियों की डिपार्टमेंटल प्रमोशनल कमिटी (डीपीसी) संपन्न हुई। डीपीसी में वर्ष 2006 बैच की आईपीएस अधिकारी पुलिस उप महानिरीक्षक स्वीटी अग्रवाल, अरुण मोहन जोशी, अनंत शंकर ताकवाले तथा राजीव स्वरूप को एक जनवरी 2024 से पुलिस महानिरीक्षक पद पर पदोन्नति प्रदान करने का निर्णय लिया गया। वर्ष 2011 बैच के आईपीएस अधिकारी पुलिस अधीक्षक मुकेश कुमार तथा धीरेंद्र गुंज्याल को एक जनवरी 2024 से सेलेक्शन ग्रेड प्रदान करने का निर्णय लिया गया। सोमवार को पदोन्नति पाने वाले सभी अधिकारियों को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मुख्यमंत्री आवास में आयोजित कार्यक्रम में पदोन्नति बैज प्रदान किए।