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UKPSC परीक्षा में दूसरी रैंक हासिल कर कुट्टी रावत बनी असिस्टेंट प्रोफेसर

उत्तर नारी डेस्क 

उत्तराखण्ड की बेटियां परिवार हों या समाज या फ़िर देश के लिए अच्छी नौकरी पाकर हर जगह अपनी मेहनत से कीर्तिमान रचती है और अपनी प्रतिभा, मेहनत और संकल्प से कामयाबी को पाकर बेटा और बेटी में असमानता का भेद भी कम करती है तो वहीं अपनी मेहनत के दम पर आने वाले युवक व युवतीयों के लिए प्रेरणा स्रोत भी बनती है। इसी क्रम में आज हम आपको राज्य की एक और ऐसी ही होनहार बेटी से रूबरू कराने जा रहे हैं जिन्होंने उत्तराखण्ड लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित असिस्टेंट प्रोफेसर परीक्षा के परिणामों में समूचे प्रदेश में दूसरी रैंक हासिल की है। हम बात कर रहे हैं मूल रूप से टिहरी गढ़वाल जिले के प्रतापनगर क्षेत्र के बागी गांव की रहने वाली कुट्टी रावत बगियाल‌ की, जो भूगोल विषय की असिस्टेंट प्रोफेसर बन गई है। उसकी इस सफलता से उनके घर में खुशी का माहौल है साथ ही माता-पिता गर्व की अनुभूति कर रहे हैं। 

बता दें, अपने पहले ही प्रयास में असिस्टेंट प्रोफेसर की परीक्षा उत्तीर्ण करने वाली कुट्टी इससे पूर्व भूगोल विषय में 64 फीसदी अंकों के साथ यूजीसी नेट और जेआरएफ की परीक्षाएं भी उत्तीर्ण कर चुकी हैं। वहीं, कुट्टी रावत ने जहां अपनी प्रारम्भिक शिक्षा अपने पिता ममराज रावत के घर (नोघर) से SRK पब्लिक स्कूल लंबगांव और केंद्रीय विद्यालय सौड़खांड से प्राप्त की वहीं माध्यमिक शिक्षा राजकीय बालिका इंटर कॉलेज लंबगांव से प्रथम श्रेणी (होनॉर्स) से उत्तीर्ण के पश्चात उच्च शिक्षा की डिग्री फूल सिंह बिष्ट राजकीय महाविद्यालय लंबगांव से प्रथम श्रेणी में हासिल की है। तदोपरांत वैवाहिक जीवन में बंधने के पश्चात भी कुट्टी ने अपनी पढ़ाई जारी रखी। इतना ही नही मां बनने के बाद जहां अधिकतर महिलाएं घर गृहस्थी के कामों में ही उलझकर रह जाती है वहीं कुट्टी रावत ने 2018 में मातृत्व सुख प्राप्त होने के पश्चात भी न केवल अपनी पढ़ाई लिखाई जारी रखी बल्कि अपनी कड़ी मेहनत और लगन के बलबूते 2020 में पोस्ट ग्रेजुएशन के दौरान भूगोल विषय में UGC नेट और वर्ष 2021 में JRF जूनियर रिसर्च फेलोशिप की परीक्षा 99.97 परसेंटाइल से उत्तीर्ण की।

वर्तमान में कुट्टी रावत DAV PG कॉलेज देहरादून से Phd कर रही हैं।जहां उनकी गाइड प्रोफेसर संगीता भट्ट रही। कुट्टी का सपना है कि वे भविष्य में एक सफल आईएएस अधिकारी बनें और समाज की सेवा करें। उन्होंने अपनी इस सफलता का श्रेय अपने पति दीपक बगियाल, परिवार और गुरुजनों को दिया है, जिन्होंने हर कदम पर उनका साथ दिया और हमेशा उनका हौसला बढ़ाया। कुट्टी की इस अभूतपूर्व उपलब्धि पर परिवार में जश्न का माहौल है। उनकी इस सफलता पर उत्तर नारी की टीम की ओर से उन्हें ढ़ेर सारी बधाई और शुभकामनाएं।

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