उत्तर नारी डेस्क
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उत्तराखण्ड में खाद्य पदार्थाें में थूक व गंदगी मिलाने की घटनाओं पर कड़ा रूख अपनाया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में इस तरह की घटनाओं को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने सख्त निर्देश दिए हैं कि ऐसे मामलों की सघन जांच हो और दोषियों को सजा मिले।
मुख्यमंत्री के निर्देशों के बाद स्वास्थ्य सचिव व खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के आयुक्त डॉ. आर राजेश कुमार ने विस्तृत एसओपी जारी की है। जिसमें दोषियों पर कड़ी कार्रवाई के साथ ₹25 हजार से लेकर ₹1 लाख तक जुर्माना का प्रावधान किया गया है।
डॉ. आर राजेश कुमार ने कहा कि हाल के दिनों में राज्य के विभिन्न क्षेत्रों में जूस एवं अन्य खानपान की वस्तुओं में मानव अपशिष्ट एवं अन्य गन्दी चीजों की मिलावट के प्रकरण प्रकाश में आये हैं।
उन्होंने कहा कि यह खाद्य सुरक्षा एव मानक अधिनियम 2006 के प्रावधानों का स्पष्ट उल्लंघन है। उन्होंने कहा कि सभी खाद्य कारोबारियों को लाइसेंस लेना व उसकी शर्तों का पालन करना अनिवार्य है। इसके साथ ही खाद्य पदार्थों में स्वच्छता एवं सफाई सम्बंधी अपेक्षायें का अनुपालन करना भी अनिवार्य है।
डॉ. आर राजेश कुमार ने कहा कि नियमों का पालन न करने वाले खाद्य करोबारियों के खिलाफ खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम-2006 के प्राविधानों के तहत दण्डित किये जाने का प्राविधान है।
उन्होंने कहा कि खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम, 2006 के अन्तर्गत आम जनता को शुद्ध, स्वच्छ एवं सुरक्षित खाद्य पदार्थों की उपलब्धता सुनिश्चित कराये जाने के दृष्टिगत राज्य में खाद्य करोबारियों द्वारा खाद्य सुरक्षा एवं स्वच्छता के मानकों का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित किये जाने हेतु प्रावधान है। जिसको लेकर टीमें लगतार छापेमारी अभियान चला रही हैं। सैंपलिंग भरी जा रही हैं जांच में एवं दोषी पाये जाने वाले कारोबारियों पर कार्रवाई भी की जा रही है।