उत्तर नारी डेस्क
रेड क्रॉस समिति की संयोजक डॉ. तनुजा मौर्य ने विश्व रेडक्रॉस दिवस के विषय में छात्र-छात्राओं को अवगत कराते हुए यह बताया कि यह दिवस रेडक्रास के संस्थापक हेनरी ड्यूनेंट के जन्मदिन के अवसर पर 8 मई को संपूर्ण विश्व में मनाया जाता है। रेडक्रॉस की स्थापना 1863 ई. में हेनरी ड्यूनेन्ट ने जेनेवा में की। इसका मुख्यालय जेनेवा (सि्वट्जरलेंड) में है। रेडक्रॉस का मिशन मानवीय जिन्दगी व सेहत को बचाना है। इंटरनेशनल रेड क्रॉस और रेड क्रीसेंट मूवमेंट दुनिया भर में लगभग 97 मिलियन स्वयंसेवकों, सदस्यों और कर्मचारियों के साथ एक मानवीय आंदोलन है, जिसे मानव जीवन और स्वास्थ्य की रक्षा के लिए, सभी मनुष्यों के लिए सम्मान सुनिश्चित करने और मानव पीड़ा को रोकने और कम करने के लिए स्थापित किया गया था। रेड क्रॉस के सात सिद्धांतों में प्रथम सिद्धांत "मानवता" है। इस वर्ष का विषय भी मानवता को जीवित रखना, लोगों की पीड़ा कम करना एवं सबसे कमजोर लोगों की सहायता के लिए प्रयास करना है।
हिंदी विभाग की प्राध्यापिका डॉ. कृष्णा राणा ने पर्वतीय स्थलों पर हो रही प्राकृतिक समस्याओं के प्रति मनुष्य के दायित्वों के विषय में अवगत कराते हुए कहा कि आजकल पहाड़ों में अग्नि प्राकृतिक को नष्ट कर रही है जिसे सुरक्षित करने का कार्य मनुष्य का ही है यदि प्रत्येक मनुष्य अपने कर्तव्य को निभाएं तो इस प्रकार की समस्याओं से निदान पाया जा सकता है। उन्होंने मानवीय मूल्य के विषय में छात्र-छात्राओं को अवगत कराया। कार्यक्रम का संचालन रेड क्रॉस समिति की सदस्य कनिका बड़वाल द्वारा किया गया। इस अवसर पर रेड क्रॉस समिति की सदस्य दीपिका कुंवर, महाविद्यालय की प्राध्यापिका डॉ. ममता थपलियाल, डॉ. शशि बाला रावत और छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।