उत्तर नारी डेस्क
देवभूमि उत्तराखण्ड के युवा आज अपनी काबिलियत के दम पर देश-दुनिया में छाए हुए हैं। आज ऐसा कोई भी क्षेत्र नहीं जहां देवभूमि के युवाओं ने अपनी प्रतिभा का जलवा ना बिखेरा हों। आज हर क्षेत्र में पहाड़ के युवाओं का दबदबा है। इसी क्रम में अब प्रद्युम्न बिजलवान ने बिना किसी कोचिंग के UPSC परीक्षा में आरक्षित सूची में 98वीं रैंक प्राप्त कर IAS अधिकारी बन गए है।
बता दें, प्रद्युम्न बिजलवान मूल रूप से उत्तराखण्ड के ऋषिकेश क्षेत्र से के रहने वाले है। प्रद्युम्न ने साधारण परिवार से होते हुए भी असाधारण उपलब्धि अर्जित की है। प्रद्युम्न के पिता शिव प्रकाश बिजल्वाण सामान्य वाहन कंडक्टर हैं जो अपने परिश्रम से परिवार का भरण-पोषण करते हैं। वहीं प्रद्युम्न ने अपनी पढ़ाई का खर्च बच्चों को ट्यूशन पढ़ाकर पूरा किया।
हाल ही में घोषित UPSC 2024 की आरक्षित सूची में प्रद्युम्न बिजल्वाण का नाम 98वीं रैंक पर शामिल हुआ है, जिससे पूरे उत्तराखण्ड में खुशी की लहर दौड़ गई है। प्रद्युम्न ने अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता के आशीर्वाद और निरंतर प्रयास को दिया। उन्होंने कहा कि वे आने वाले समय में समाज के वंचित वर्ग और पहाड़ दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों की शिक्षा में सहयोग करना चाहते हैं।



